((शेयर बाजार: जब तक सीखेंगे नहीं, तबतक पैसे बनेंगे नहीं!
बैंक ऋण का क्षेत्रवार अभिनियोजन – जुलाई 2025
जुलाई 2025 महीने1 के लिए 41 चुनिंदा अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) से जुटाए गए बैंक ऋण के क्षेत्रवार अभिनियोजन संबंधी आंकड़े, जो सभी एससीबी के कुल खाद्येतर ऋण का लगभग 95 प्रतिशत होता है, विवरण I और II में दिए गए हैं।
वर्ष-दर-वर्ष (व-द-व) आधार पर देखें तो, खाद्येतर बैंक ऋण2 25 जुलाई 2025 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार 9.9 प्रतिशत की दर से बढ़ा3, जबकि पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में यह 13.6 प्रतिशत था (अर्थात, 26 जुलाई 2024)।
25 जुलाई 2025 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार बैंक ऋण3 के क्षेत्रवार अभिनियोजन की मुख्य बातें नीचे दी गई हैं:
कृषि और संबद्ध कार्यकलापों हेतु प्रदत्त ऋण में वर्ष-दर-वर्ष 7.3 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई (पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में 18.1 प्रतिशत)।
उद्योग क्षेत्र को प्रदत्त ऋण में वर्ष-दर-वर्ष 6.0 प्रतिशत की मध्यम वृद्धि दर्ज की गई, जबकि पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में यह 10.2 प्रतिशत थी। सूक्ष्म एवं लघु, और मझोले उद्योगों को प्रदत्त ऋण मजबूत गति से बढ़ता रहा। प्रमुख उद्योगों में, ‘सभी इंजीनियरिंग’, ‘वाहन, वाहन के कलपुर्जे एवं परिवहन उपकरण’, ‘रबड़, प्लास्टिक एवं उनके उत्पाद’ और ‘रत्न एवं आभूषण’ को बकाया ऋण में वर्ष-दर-वर्ष मजबूत वृद्धि दर्ज की गई।
सेवा क्षेत्र को प्रदत्त ऋण में वर्ष-दर-वर्ष 10.6 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई (पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में 14.5 प्रतिशत)। ‘गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों’ (एनबीएफसी) को प्रदत्त ऋण में वृद्धि धीमी हुई, जबकि ‘पेशेवर सेवाओं’, ‘वाणिज्यिक स्थावर संपदा’ और ‘व्यापार’ खंड में ऋण वृद्धि मजबूत रही।
वैयक्तिक ऋण खंड हेतु प्रदत्त ऋण में वर्ष-दर-वर्ष 11.9 प्रतिशत की धीमी वृद्धि दर्ज की गई, जबकि एक वर्ष पहले यह 14.0 प्रतिशत थी, जिसका मुख्य कारण ‘अन्य वैयक्तिक ऋण’, ‘वाहन ऋण’, और ‘क्रेडिट कार्ड बकाया’ की वृद्धि का कम होना था।
-Join this channel to get access to perks:
(साभार- www.rbi.org.in)
('बिना प्रोफेशनल ट्रेनिंग के शेयर बाजार जरूर जुआ है'
((शेयर बाजार: जब तक सीखेंगे नहीं, तबतक पैसे बनेंगे नहीं!
किस सेक्टर में लोन लेने की रफ्तार घटी, किस सेक्टर की बढ़ी, RBI ने जारी किया ताजा डेटा
बैंक ऋण का क्षेत्रवार अभिनियोजन – जून 2025
जून 2025 महीने1 के लिए 41 चुनिंदा अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों (एससीबी) से जुटाए गए बैंक ऋण के क्षेत्रवार अभिनियोजन संबंधी आंकड़े, जो सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों द्वारा अभिनियोजित कुल खाद्येतर ऋण का लगभग 95 प्रतिशत होता है, विवरण I और II में दिए गए हैं।
वर्ष-दर-वर्ष (व-द-व) आधार पर देखें तो, खाद्येतर बैंक ऋण2 27 जून 2025 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार 10.2 प्रतिशत की दर से बढ़ा3, जबकि पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में यह 13.8 प्रतिशत था (अर्थात, 28 जून 2024)।
27 जून 2025 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार बैंक ऋण3 के क्षेत्रवार अभिनियोजन की मुख्य बातें नीचे दी गई हैं:
कृषि और संबद्ध कार्यकलापों हेतु प्रदत्त ऋण में वर्ष-दर-वर्ष 6.8 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई (पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में 17.4 प्रतिशत)।
उद्योग क्षेत्र को प्रदत्त ऋण में वर्ष-दर-वर्ष 5.5 प्रतिशत की वृद्धि हुई, जबकि पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में यह 7.7 प्रतिशत थी। सूक्ष्म एवं लघु, और मझोले उद्योगों को प्रदत्त ऋण लगातार बढ़ता रहा। प्रमुख उद्योगों में, ‘सभी अभियांत्रिकी’, ‘निर्माण’ और ‘कपड़ा’ को बकाया ऋण में वर्ष-दर-वर्ष तेज वृद्धि दर्ज की गई।
सेवा क्षेत्र को प्रदत्त ऋण में वृद्धि वर्ष-दर-वर्ष घटकर 9.6 प्रतिशत हो गई (पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में 15.1 प्रतिशत), जो मुख्य रूप से ‘गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों’ (एनबीएफसी) को प्रदत्त ऋण में धीमी वृद्धि के कारण थी। ‘कंप्यूटर सॉफ्टवेयर’ एवं ‘पेशेवर सेवाएं’ खंड में ऋण वृद्धि मजबूत रही।
वैयक्तिक ऋण खंड हेतु प्रदत्त ऋण में वर्ष-दर-वर्ष 14.7 प्रतिशत की धीमी वृद्धि दर्ज की गई, जबकि एक वर्ष पहले यह 16.6 प्रतिशत थी, जिसका मुख्य कारण ‘अन्य वैयक्तिक ऋण’, ‘वाहन ऋण’, और ‘क्रेडिट कार्ड बकाया’ की वृद्धि का कम होना था।
|
(साभार- www.rbi.org.in)
('बिना प्रोफेशनल ट्रेनिंग के शेयर बाजार जरूर जुआ है'
((शेयर बाजार: जब तक सीखेंगे नहीं, तबतक पैसे बनेंगे नहीं!
देश में पर्सनल लोन की रफ्तार में कमी- RBI
(साभार- www.rbi.org.in)
('बिना प्रोफेशनल ट्रेनिंग के शेयर बाजार जरूर जुआ है'
((शेयर बाजार: जब तक सीखेंगे नहीं, तबतक पैसे बनेंगे नहीं!
Prepayment Charges on Loans: समय से पहले लोन चुकाने वालों को बड़ी राहत
('बिना प्रोफेशनल ट्रेनिंग के शेयर बाजार जरूर जुआ है'
((शेयर बाजार: जब तक सीखेंगे नहीं, तबतक पैसे बनेंगे नहीं!
PNB ने Home, Auto Loan सस्ता किया, इतना फायदा होगा
RBI से लोन लेने वालों को सौगात... FD, RD कराने वालों को आफत!
बैंक ऋण का क्षेत्र-वार अभिनियोजन – दिसंबर 2024
दिसंबर 20241 महीने के लिए 41 चुनिंदा अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों से जुटाए गए बैंक ऋण के क्षेत्र-वार अभिनियोजन संबंधी आंकड़े, जो सभी अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों द्वारा अभिनियोजित कुल खाद्येतर ऋण का लगभग 95 प्रतिशत होता है, विवरण I और II में दिए गए हैं।
वर्ष-दर-वर्ष (व-द-व) आधार पर देखें तो, खाद्येतर बैंक ऋण2 27 दिसंबर 20243 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार 12.4 प्रतिशत की दर से बढ़ा, जबकि पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े (29 दिसंबर 2023) में यह 15.8 प्रतिशत था।
बैंक ऋण3 के क्षेत्र-वार अभिनियोजन की मुख्य बातें नीचे दी गई हैं:
कृषि और संबद्ध कार्यकलापों हेतु प्रदत्त ऋण में 27 दिसंबर 2024 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार 12.5 प्रतिशत (व-द-व) की वृद्धि दर्ज की गई (पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में 19.4 प्रतिशत)।
उद्योग क्षेत्र को प्रदत्त ऋण में 27 दिसंबर 2024 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार 7.4 प्रतिशत (व-द-व) की वृद्धि हुई, जबकि पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में यह 7.5 प्रतिशत थी। प्रमुख उद्योगों में, ‘खाद्य प्रसंस्करण’, ‘पेट्रोलियम, कोयला उत्पाद एवं परमाणु ईंधन’, और ‘सभी अभियांत्रिकी’ को बकाया ऋण में उच्च वृद्धि हुई। तथापि, ‘आधारभूत संरचना’ खंड में ऋण वृद्धि में कमी आई।
सेवा क्षेत्र को प्रदत्त ऋण में वृद्धि 27 दिसंबर 2024 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार घटकर 13.0 प्रतिशत (व-द-व) हो गई (पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में 20.0 प्रतिशत), जो मुख्य रूप से ‘गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (एनबीएफसी)’ और ‘व्यापार’ खंड हेतु प्रदत्त ऋण में वृद्धि के कम होने के कारण थी। तथापि, ‘कंप्यूटर सॉफ्टवेयर’ और ‘पेशेवर सेवाओं’ की ऋण वृद्धि (व-द-व) में तेजी आई।
वैयक्तिक ऋण खंड हेतु प्रदत्त ऋण में वृद्धि 27 दिसंबर 2024 को समाप्त पखवाड़े की स्थिति के अनुसार घटकर 14.9 प्रतिशत (व-द-व) हो गई, जबकि पिछले वर्ष के इसी पखवाड़े में यह 17.6 प्रतिशत थी, जो मुख्यत: ‘अन्य वैयक्तिक ऋणों’, ‘वाहन ऋणों’ एवं ‘क्रेडिट कार्ड बकाया’ की वृद्धि में कमी आने के कारण थी। तथापि, ‘आवास’ – इस खंड का सबसे बड़ा घटक – में वर्ष-दर-वर्ष आधार पर तेज वृद्धि हुई
|
(साभार: www.rbi.org.in)
('बिना प्रोफेशनल ट्रेनिंग के शेयर बाजार जरूर जुआ है'
((शेयर बाजार: जब तक सीखेंगे नहीं, तबतक पैसे बनेंगे नहीं!
.jpg)






