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FD Fraud: HDFC बैंक में  FD कराने वालों के साथ कैसे हुआ धोखा, कैसे बचें!
Bombay High Court notice to HDFC Bank and RBI in case of FD fraud.  प्राइवेट बैंक HDFC Bank में FD कराने वाले एक ग्राहक के साथ बहुत बड़ा धोखा हुआ है। ये धोखा क्या और कैसे हुआ और आप कहीं भी एफडी कराते हैं तो ऐसे धोखे से कैसे बचें, ये सब जानने के लिए इस एपिसोड को आखिर तक देखिये।

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Rajanish Kant बुधवार, 4 दिसंबर 2024
RBI ने बैंकों में धोखाधड़ी को लेकर जारी किये नए निदेश

भारतीय रिज़र्व बैंक ने विनियमित संस्थाओं में धोखाधड़ी जोखिम प्रबंधन पर संशोधित मास्टर
निदेश जारी किए



भारतीय रिज़र्व बैंक ने आज विनियमित संस्थाओं अर्थात (i) वाणिज्यिक बैंकों (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों सहित) और अखिल भारतीय वित्तीय संस्थानों; (ii) सहकारी बैंकों (शहरी सहकारी बैंकों/राज्य सहकारी बैंकों/केन्द्रीय सहकारी बैंकों); तथा (iii) गैर-बैंकिंग वित्त कंपनियों (आवास वित्त कंपनियाँ सहित) के लिए धोखाधड़ी जोखिम प्रबंधन पर तीन संशोधित मास्टर निदेश जारी किए।

ये मास्टर निदेश पूर्व के मास्टर निदेशों, परिपत्रों और उभरते मुद्दों की व्यापक समीक्षा के आधार पर तैयार किए गए हैं। ये मास्टर निदेश सिद्धांत-आधारित हैं और विनियमित संस्थाओं (आरई) में धोखाधड़ी जोखिम प्रबंधन के समग्र अभिशासन और निगरानी में बोर्ड की भूमिका को मजबूत करते हैं। इन निदेशों में विनियमित संस्थाओं में मजबूत आंतरिक लेखापरीक्षा और नियंत्रण ढांचा स्थापित करने की आवश्यकता पर भी बल दिया गया है।

मास्टर निदेशों में अब स्पष्ट रूप से यह अपेक्षा की गई है कि विनियमित संस्थाएं, व्यक्तियों/संस्थाओं को धोकेबाज़ के रूप में वर्गीकृत करने से पूर्व समयबद्ध तरीके से प्राकृतिक न्याय के सिद्धांतों का अनुपालन सुनिश्चित करेंगी, तथा इसके लिए उन्हें माननीय सर्वोच्च न्यायालय के दिनांक 27 मार्च 2023 के निर्णय (भारतीय स्टेट बैंक एवं अन्य बनाम राजेश अग्रवाल एवं अन्य के मामले में सिविल अपील संख्या 7300/2022) को ध्यान में रखना होगा। आरई में धोखाधड़ी का शीघ्र पता लगाने और रोकथाम तथा कानून प्रवर्तन एजेंसियों और पर्यवेक्षकों को समय पर रिपोर्ट करने के लिए प्रारंभिक चेतावनी संकेतों (ईडब्ल्यूएस) और खातों की रेड फ्लैगिंग (आरएफए) पर ढांचे को और मजबूत किया गया है। इसके अलावा, जोखिम प्रबंधन प्रणालियों को मजबूत करने के लिए डेटा एनालिटिक्स और बाज़ार आसूचना इकाई की आवश्यकता को अनिवार्य कर दिया गया है।

ये निदेश अब क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों, ग्रामीण सहकारी बैंकों और आवास वित्त कंपनियों पर भी लागू कर दिए गए हैं, जिसका उद्देश्य ऐसे विनियमित संस्थाओं में बेहतर धोखाधड़ी जोखिम प्रबंधन प्रणालियों और ढांचे को बढ़ावा देना है।

इन मास्टर निदेशों के जारी होने के साथ ही इस विषय पर मौजूदा 36 परिपत्र वापस ले लिए गए हैं। ऐसा, मौजूदा अनुदेशों को युक्तिसंगत बनाने तथा विनियमित संस्थाओं पर अनुपालन बोझ को कम करने के इरादे से किया गया है। 

(साभार- www.rbi.org.in)

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Rajanish Kant बुधवार, 17 जुलाई 2024
RBI ने RTI के जवाब में टॉप 50 विलफुल डिफॉल्टर के नाम बताए, जानिए कौन कौन हैं बड़े नाम
बैंकों से करोड़ों लोन लेना और जानबुझकर उसे नहीं चुकाना, बहुत सारे उद्योगपतियों की आदत बन गई है। कुछ दिन पहले कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी द्वारा संसद में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से टॉप 50 विलफुल डिफॉल्टर्स की जानकारी मांगी थी, लेकिन वित्त मंत्री ने जानकारी देने से मना कर दिया था। 

यही जानकारी एक  RTI कार्यकर्ता ने देश के केंद्रीय बैंक RBI से कुछ समय पहले मांगी थी। RBI ने टॉप 50 विलफुल डिफॉल्टर्स की जानकारी दी तो है लेकिन ये लिस्ट सितंबर 2019 तक ही  अपडेटेड है, उसके बाद का नहीं। साथ ही विदेशी विलफुल डिफॉल्टर्स के नाम इस लिस्ट में शामिल नहीं है। इस लिस्ट में भगोड़ा मेहुल चोकसी और विजय माल्या की कंपनी के साथ बाबा रामदेव ने अभी हाल ही में जिस रुचि सोया इंडस्ट्रीज में निवेश किया है, उसका नाम भी शामिल है। आप भी इस लिस्ट को देख सकते हैं-









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Rajanish Kant मंगलवार, 28 अप्रैल 2020
ICICI बैंक, SBI, HDFC बैंक के खाताधारक ज्यादा अलर्ट रहें!

ICICI बैंक, SBI, HDFC बैंक के खाताधारक ज्यादा अलर्ट रहें!

Rajanish Kant शुक्रवार, 14 जून 2019
बैंकों में 11 सालों में 2.05 लाख करोड़ रु. की धोखाधड़ी:रिजर्व बैंक की रपट
देश में पिछले 11 वर्ष में बैंकों में 50,000 से ज्यादा धोखाधड़ी के मामले दर्ज किए हैं जिनमें कुल 2.05 लाख करोड़ रुपये की हेराफेरी हुई । भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के आंकड़ों के अनुसार धोखाधड़ी के सबसे ज्यादा मामले आईसीआईसीआई बैंक , भारतीय स्टेट बैंक और एचडीएफसी बैंक में दर्ज किए गए हैं। 

आंकड़ों के अनुसार , पिछले 11 सालों (2008-2009 से 2018-19 के बीच) में 2.05 लाख करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के कुल 53,334 मामले दर्ज किए गए हैं। सबसे ज्यादा 6,811 मामले आईसीआईसीआई बैंक में दर्ज किए गए हैं , जिनमें 5,033.81 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी हुई है। 

सूचना के अधिकार (आरटीआई) के तहत मांगी गई जानकारी के जवाब में केंद्रीय बैंक ने यह आंकड़े दिए हैं। 

आरबीआई ने कहा कि इस दौरान , भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) में 23,734.74 करोड़ रुपये के 6,793 धोखाधड़ी के मामलों की सूचना है। इसके बाद सबसे ज्यादा धोखाधड़ी के मामले एचडीएफसी बैंक में दर्ज किए गए हैं। एचडीएफसी बैंक में 1,200.79 करोड़ रुपये के कुल 2,497 धोखाधड़ी के मामले बाहर आए हैं। 

बैंक ऑफ बड़ौदा में इस दौरान धोखाधड़ी के मामले गिनती में 2,160 रहे लेकिन इनमें कुल 12,962.96 करोड़ रुपये की राशि की हेराफेरी की गयी। इसी तरह पंजाब नेशनल बैंक में 28,700.74 करोड़ रुपये के 2,047 धोखाधड़ी के मामले और एक्सिस बैंक में कुल 5,301.69 करोड़ रुपये के 1,944 धोखाधड़ी के मामले सामने आए हैं। 

आंकड़ों के मुताबिक , बैंक ऑफ इंडिया में धोखाधड़ी के 1,872 मामले (12,358.2 करोड़ रुपये), सिंडीकेट बैंक में 1,783 मामले (5830.85 करोड़ रुपये) और सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया में 9041.98 करोड़ रुपये के 1,613 धोखाधड़ी के मामले सामने आए हैं। 

इसी प्रकार , आईडीबीआई बैंक लिमिटेड ने 5978.96 करोड़ रुपये के 1,264 मामलों , स्टैंडर्ड चार्टर्ड बैंक ने 1221.41 करोड़ रुपये के 1,263 मामलों , कैनरा बैंक ने 5553.38 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के 1,254 मामलों , यूनियन बैंक ऑफ इंडिया ने 11,830.74 करोड़ रुपये के 1,244 मामलों और कोटक महिंद्रा बैंक ने 430.46 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के 1,213 मामलों की सूचना दी है। 

पिछले 11 वर्षों की अवधि के दौरान , इंडियन ओवरसीज बैंक में 12,644.7 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के 1,115 मामले जबकि ओरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स में 5,598.23 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के ऐसे 1,040 मामले दर्ज किए गए हैं। 

इस अवधि के दौरान , भारत में परिचालन करने वाले कुछ विदेशी बैंकों में धोखाधड़ी के मामले दर्ज किए गए हैं। 

पीटीआई - भाषा ने तीन जून को आरबीआई के आंकड़ों का हवाला देते हुए अनुसूचित वाणिज्यिक बैंकों और चुनिंदा वित्तीय संस्थाओं में 71,542.93 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के 6,801 मामलों की सूचना दी थी। 

इससे पहले 2008- 09 में 1,860.09 करोड़ रुपये के कुल 4,372 मामले सामने आए थे। इसके बाद 2009- 10 में 1,998.94 करोड़ रुपये के 4,669 मामले दर्ज किए गए। 2010-11 में 4,534 मामले और 2011-12 में 4,093 मामले दर्ज किए गए हैं , इनमें क्रमश : 3,815.76 करोड़ रुपये और 4,501.15 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी हुई। 

इसी प्रकार , वित्त वर्ष 2012-13 में 8,590.86 करोड़ रुपये के 4,235 मामले , 2013-14 में 10,170.81 करोड़ रुपये के 4,306 मामले और 2014-15 में 19,455.07 करोड़ रुपये के 4,639 धोखाधड़ी के मामले दर्ज किए गए। 

वित्त वर्ष 2015- 16 और 2016- 17 में क्रमश : 18,698.82 करोड़ रुपये और 23,933.85 करोड़ रुपये मूल्य के 4,693 और 5,076 मामले सामने आए। वहीं , 2017-18 में 41,167.03 करोड़ रुपये के 5,916 धोखाधड़ी के मामले सामने आए हैं। 
(साभार: पीटीआई भाषा)
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सामान खरीदने से पहले कीमत देखते हैं, फिर शेयर खरीदने से पहले भी कुछ देखिये

Rajanish Kant गुरुवार, 13 जून 2019
बैंक फ्रॉड करने वालों को भा रहा है 'मोदी राज', 2018-19 में बैंक फ्रॉड 73%(रुपए के टर्म में) बढ़ा -RBI
2018-19 में बैंक फ्रॉड के 6800 मामले, 71,500 करोड़ रु.की हुई धोखाधड़ी-RBI 


वित्त वर्ष 2018-19 में बैंक फ्रॉड के 6801 मामले सामने आए हैं जिसमें करीब 71,542.93 करोड़ रु.(पिछले साल के मुकाबले 73 प्रतिशत ज्यादा) की धोखाधड़ी की गई। इसकी जानकारी किसी और ने नहीं बल्कि देश के केंद्रीय बैंक आरबीआई ने आरटीआई के जरिये मांगी गई जानकारी के तहत दी है। 

2017-18 में बैंक फ्रॉड के 5916 मामले समाने आए थे जिसके जरिये 41167 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी की गई थी। 

पिछले 11 वित्त वर्ष में बैंक फ्रॉड के कुल 53,334 मामले सामने आए हैं जिसके जरिये 2.05 लाख करोड़ रुपए की धोखाधड़ी हुई है। 

2008-09 में 4372 बैंक फ्रॉड के जरिये 1860.09 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी, 2009-10 में 4669 बैंक फ्रॉड के जरिये 1998.94 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी, 2010-11 में 4534 बैंक फ्रॉड के जरिये 3815.76 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी, 2011-12 में 4093 बैंक फ्रॉड के जरिये 4501.15 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी, 2012-13 में 4235 बैंक फ्रॉड के जरिये 8590.86 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी, 2013-14 में 4306 बैंक फ्रॉड के जरिये 8590.86 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी, 2014-15 में 4339 बैंक फ्रॉड के जरिये 19455.07 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी, 2015-16 में 4693 बैंक फ्रॉड के जरिये 18698.82 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी और 2016-17 में 5076 बैंक फ्रॉड के जरिये 23933.85 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी हुई। 

नीरव मोदी, विजय माल्या, मेहुल चोकसी बैंक फ्रॉड के जाने माने चेहरे बने हुए हैं। 

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Rajanish Kant सोमवार, 3 जून 2019