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Fed Meeting: अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व ने ब्याज दर जस का तस रखा, बढ़ती महंगाई दर अभी भी चिंता

अमेरिका के केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्वफेडरल रिजर्व ने 11 और 12 जून को हुई बैठक के बाद ब्याज दर को 5.25-5.50 प्रतिशत पर स्थिर रखा है।  लगातार सातवीं बार ब्याज दर स्थिर रखा गया है|बैठक के बाद फेडरल रिजर्व ने कहा कि हालांकि अमेरिका में आर्थिक गतिविधि लगातार बढ़ रही है, बेरोजगारी दर कम है, लोगों को खूब नौकरियां मिल रही हैं, महंगाई दर में भी कमी आई है। फेड ने आगे कहा कि वह अभी भी महंगाई दर और रोजगार के मौके का लक्ष्य हासिल करने का इंतजार कर रहा है। 

फेड ने पिछले साल जुलाई तक लगातार 11 बार ब्याज दरों में बढ़ोतरी की थी और उसके बाद से ब्याज दर स्थिर रखा जा रहा है। लोग ब्याज दर में कटौती का इंतजार कर रहे हैं।  


आपको बता दूं कि फेडरल रिजर्व ने महंगाई दर को 2 प्रतिशत के दायरे में रखने का लक्ष्य निर्धारित किया है, लेकिन इसमें कामयाबी नहीं मिल पा रही है। फेडरल रिजर्व मानें तो ब्याज दर में कटौती का पूरा दारोमदार लक्षित महंगाई दर पर है। 


बैठक के बाद क्या कहा फेडरल रिजर्व ने - 

हाल के संकेतक बताते हैं कि आर्थिक गतिविधि का ठोस गति से विस्तार जारी है। नौकरी की प्राप्ति मजबूत बनी हुई है, और बेरोजगारी दर कम बनी हुई है। पिछले वर्ष मुद्रास्फीति कम हुई है लेकिन ऊंची बनी हुई है। हाल के महीनों में, समिति के 2 प्रतिशत मुद्रास्फीति लक्ष्य की दिशा में मामूली प्रगति हुई है। समिति लंबी अवधि में 2 प्रतिशत की दर से अधिकतम रोजगार और मुद्रास्फीति हासिल करना चाहती है। समिति का मानना ​​है कि पिछले वर्ष के दौरान इसके रोजगार और मुद्रास्फीति लक्ष्यों को प्राप्त करने के जोखिम बेहतर संतुलन की ओर बढ़ गए हैं। आर्थिक दृष्टिकोण अनिश्चित है, और समिति मुद्रास्फीति जोखिमों के प्रति अत्यधिक चौकस बनी हुई है। 

अपने लक्ष्यों के समर्थन में, समिति ने संघीय निधि दर के लिए लक्ष्य सीमा को 5-1/4 से 5-1/2 प्रतिशत पर बनाए रखने का निर्णय लिया। संघीय निधि दर के लिए लक्ष्य सीमा में किसी भी समायोजन पर विचार करते समय, समिति आने वाले डेटा, उभरते दृष्टिकोण और जोखिमों के संतुलन का सावधानीपूर्वक आकलन करेगी। समिति को यह उम्मीद नहीं है कि लक्ष्य सीमा को कम करना तब तक उचित होगा जब तक कि उसे यह विश्वास न हो जाए कि मुद्रास्फीति लगातार 2 प्रतिशत की ओर बढ़ रही है। इसके अलावा, समिति ट्रेजरी प्रतिभूतियों और एजेंसी ऋण और एजेंसी बंधक-समर्थित प्रतिभूतियों की अपनी हिस्सेदारी को कम करना जारी रखेगी। 

समिति मुद्रास्फीति को उसके 2 प्रतिशत लक्ष्य पर लौटाने के लिए दृढ़ता से प्रतिबद्ध है। मौद्रिक नीति के उचित रुख का आकलन करने में, समिति आर्थिक दृष्टिकोण के लिए आने वाली जानकारी के निहितार्थ की निगरानी करना जारी रखेगी। यदि जोखिम उभरते हैं जो समिति के लक्ष्यों की प्राप्ति में बाधा उत्पन्न कर सकते हैं तो समिति मौद्रिक नीति के रुख को उचित रूप से समायोजित करने के लिए तैयार होगी। समिति के आकलन में श्रम बाजार की स्थितियों, मुद्रास्फीति के दबाव और मुद्रास्फीति की उम्मीदों, और वित्तीय और अंतर्राष्ट्रीय विकास पर रीडिंग सहित जानकारी की एक विस्तृत श्रृंखला को ध्यान में रखा जाएगा।



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Rajanish Kant गुरुवार, 13 जून 2024
अमेरिका के फेडरल रिजर्व ने ब्याज दर 0.25% बढ़ाकर 1.25-1.50% पर किया, ग्रोथ का अनुमान 2.1 से बढ़ाकर 2.5%



उम्मीद के मुताबिक, अमेरिका के केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व ने 12और 13 दिसंबर , 2017 की दो दिनों की बैठक के बाद ब्याज दर में चौथाई प्रतिशत की बढ़ोतरी करते हुए इसे मौजूदा 1-1.25% से 1.25-1.50%  कर दिया है।  इससे पहले इसी साल जून और मार्च और पिछले साल दिसंबर की बैठक में ब्याज दर में 0.25%-0.25% बढ़ोतरी की गई थी। हालांकि 19 और 20 सितंबर, 2017 की बैठक में ब्याज दर 1-1.25% पर स्थिर रखा था। 

वहीं इस बैठक में फेडरल रिजर्व में इस साल की विकास दर का अनुमान भी बढ़ा दिया है। सितंबर की बैठक में विकास दर 2.1% रहने का अुनमान लगाया था वहीं 12,13 दिसंबर की बैठक में इसे बढ़ाकर 2.5% कर दिया है।

आपको बता दें कि पिछले एक दशक में अमेरिका में फेडरल फंड्स रेट, आमतौर पर जिसे हम सिर्फ ब्याज दर कह देते हैं में ये 5वीं बढ़ोतरी है। इससे  पहले  दिसंबर 2016 में फेड ने 2006 के बाद पहली बार ब्याज दर को करीब 0-0.25 % से बढ़ाकर 0.25-0.50% और मार्च 2017 में इसमें चौथाई प्रतिशत की बढ़ोतरी करके इसे 0.75-1 प्रतिशत और फिर इसी साल जून की बैठक में इसमें 0.25 प्रतिशत की बढ़ोतरी करते हुए 1-1.25 प्रतिशत कर दिया था। और अब 12-13 दिसंबर 2017 की बैठक में एक बार फिर ब्याज दर में 0.25 प्रतिशत की बढ़ोतरी करते हुए इसे 1.25-1.50 प्रतिशत कर दिया है।

 2007-2009 के आर्थिक संकट की वजह से करीब 10 साल तक ब्याज दर में कोई बढ़ोतरी नहीं की  गई थी।  

((फाइनेंस का फंडा:  फेडरल रिजर्व (Federal Reserve) को जानें 
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Rajanish Kant गुरुवार, 14 दिसंबर 2017
डोनाल्ड ट्रंप के वादों पर निवेशकों ने किया ऐतबार, मंगलवार को उछला अमेरिकी शेयर बाजार
अमेरिकी और ज्यादातर यूरोपीय शेयर बाजार मंगलवार को तेजी के साथ बंद हुए। अमेरिका में निवेशक राष्ट्रपति ट्रंप के कार्यकारी आदेशों पर दस्तखत और कानूनों एवं करों में कटौती के वादों से जोश में दिखे। शानदार खरीदारी से अमेरिकी इंडेक्स S&P 500 ऐतिहासिक ऊंचाई बनाने में कामयाब रहा। 

अमेरिका के डाओ जोंस ने 112.86 अंक, S&P 500 ने 14.87 अंक और नैस्डेक ने 48.01 अंकों की मजबूती दर्ज की। उधर, ब्रिटेन के फुट्जी 100 इंडेक्स स्थिर बंद हुआ जबकि फ्रांस के कैक 40 इंडेक्स ने 8.62 अंक और जर्मनी के डैक्स ने 49.19 अंकों की तेजी के साथ कारोबार किया। 

((डाओ जोंस सोमवार को 27 अंक गिरकर बंद, ट्रंप की नीतियों को लेकर निवेशक उलझन में
((एशियाई बाजारों का प्रदर्शन-(मंगलवार)

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Rajanish Kant बुधवार, 25 जनवरी 2017
TPP से अमेरिका अलग हुआ, जानिए TPP की खास बातें
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चुनाव के समय टीपीपी ट्रेड डील से अमेरिका को बाहर निकालने का वादा किया था। ट्रंप अपने वादा पर खरे उतरे। ताजपोशी के महज एक हफ्ते के भीतर ही उन्होंने इस डील से अमेरिका को बाहर निकालने वाले कार्यकारी आदेश पर हस्ताक्षर कर दिए हैं। ट्रंप का मानना है कि यह करार अमेरिकी नौकरियों और विनिर्माण क्षेत्र के हितों के खिलाफ था।

> टीपीपी एग्रीमेंट की खास बातें:
टीपीपी यानी ट्रांस-पैसिफिक पार्टनरशिप एक व्यापारिक समझौता (ट्रेड डील) है। अमेरिका के अलावा प्रशांत महासागर के 11 तटीय देश  -जापान (पहले ही इस समझौते को मंजूरी दे चुका है), मलेशिया, वियतनाम, सिंगापुर,  ब्रुनेई, ऑस्ट्रेलिया, न्यू जीलैंड, कनाडा, मेक्सिको, चिली और पेरू इसके सदस्य देश हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के कार्यकाल में पिछले साल फरवरी में यह समझौता हुआ था। इन देशों  की अर्थव्यवस्था वैश्विक अर्थव्यवस्था का करीब 40% है। अमेरिका की अगुआई में अक्टूबर 2015 में इस पर सहमति बनी थी।  

इस समझौते का प्रमुख लक्ष्य था यूरोपियन यूनियन की तरह ही एक 12 देशों वाला एकल बाजार यानी सिंगल मार्केट का निर्माण करना और निवेश  बढ़ाना।  साथ ही साथ  सीमा शुल्कों में कटौती करना और ग्रोथ को बढ़ाने के लिए आपसी कारोबार को बढ़ावा देना भी इसका उद्देश्य था। इस  पार्टनरशिप के देशों ने आर्थिक नीतियों और नियमनों के मामलों में भी रिश्ते में गरमाहट लाने की उम्मीद की थी।  

ओबामा ने इस एशिया-पैसिफिक क्षेत्र में चीन के बढ़ते प्रभाव को कम करने और अमेरिकी प्रभाव बढ़ाने के इरादे  से टीपीपी करार किया था। लेकिन, अमेरिकी विपक्ष दलों ने इस करार को बड़े व्यापारिक घरानों और दूसरे देशों के लिए फायदेमंद जबकि अमेरिकी नौकरियों और संप्रभूता के लिए  खतरे के तौर पर प्रचारित कर इसका विरोध किया था। अपने चुनाव अभियान  के दौरान डोनाल्ड ट्रंप ने इसे 'संभावित आपदा ' करार दिया था। 

Rajanish Kant मंगलवार, 24 जनवरी 2017
डाओ जोंस शुक्रवार को 95 अंक बढ़कर बंद, डोनाल्ड ट्रंप का संरक्षणवादी नीति पर जोर
अमेरिकी और ज्यादातर यूरोपीय शेयर बाजार राष्ट्रपति के तौर पर डोनाल्ड की ताजपोशी के दिन शुक्रवार को तेजी के साथ बंद हुए। डोनाल्ड ने अपने ताजपोशी भाषण में अमेरिका में संरक्षणवादी नीति अपनाने के संकेत दिए। उन्होंने कहा कि संरक्षण से समृद्धि और मजबूती आती है। देशवासियों को संबोधित करते हुए ट्रंप ने कहा कि आपको निराश नहीं करुंगा। ट्रंप के 'America First' की घोषणा ने स्थानीय बाजार में जोश भर दिया।

अमेरिका के डाओ जोंस ने 94.85 अंक, S&P 500 ने 7.62 अंक और नैस्डेक ने 15.25 अंकों की तेजी दर्ज की। उधर, ब्रिटेन के फुट्जी 100 इंडेक्स ने 10 अंकों की गिरावट जबकि फ्रांस के कैक 40 इंडेक्स ने 9.53 अंक और जर्मनी के डैक्स ने 33.24 अंकों की बढ़त के साथ कारोबार किया। 

((डाओ जोंस गुरुवार को 72 अंक फिसलकर बंद, सोना फीका पड़ा, कच्चे तेल में तेजी 
((2017 में कहां बनेगा पैसा; बैंक FD, सोना, इक्विटी, रियल एस्टेट या डेट इंस्ट्रूमेंट  में ? 
((आज (21 जनवरी) के नतीजे: अल्ट्राटेक सीमेंट, यूनिकेम लैब, परसिस्टेंट सिस्टम्स, जेके इंडस्ट्रीज, जेके पेपर, फोर्स मोटर्स
((20 जनवरी तक रबी फसल की बुआई 628 लाख हेक्टयेर से अधिक

अमेरिकी-यूरोपीय बाजारों का प्रदर्शन-(शुक्रवार)
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Rajanish Kant शनिवार, 21 जनवरी 2017
डाओ जोंस गुरुवार को 72 अंक फिसलकर बंद, सोना फीका पड़ा, कच्चे तेल में तेजी
अमेरिकी और यूरोपीय शेयर बाजार गुरुवार को गिरावट के साथ बंद हुए। बाजार को अमेरिका में राष्ट्रपति का पद संभालने जा रहे डोनाल्ड ट्रंप की नीतियों की घोषणा का इंतजार है। इसी बीच, यूरोपीय सेंट्रल बैंक (ईसीबी) ने ब्याज दर को स्थिर रखा है। 

अमेरिका के डाओ जोंस ने 72.32 अंक, S&P 500 ने 8.20 अंक और नैस्डेक ने 15.57 अंकों की गिरावट दर्ज की। उधर, ब्रिटेन के फुट्जी 100 इंडेक्स ने 39.17 अंक, फ्रांस के कैक 40 इंडेक्स ने 12.26 अंक और जर्मनी के डैक्स ने 2.50 अंकों की कमजोरी के साथ कारोबार किया। 

-US क्रूड ( WTI) $0.29 बढ़कर $51.37 प्रति बैरल पर निपटा
-सोना फरवरी वायदा $10.60/औंस गिरकर $1201/औंस पर बंद हुआ 

((आज (20 जनवरी) के नतीजे: अडाणी पावर, केनरा बैंक, इंडियाबुल्स हाउसिंग फाइनेंस, वीएसटी इंड, अतुल लिमिटेड, JSW एनर्जी

अमेरिकी-यूरोपीय बाजारों का प्रदर्शन-(गुरुवार)
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Rajanish Kant शुक्रवार, 20 जनवरी 2017
डाओ जोंस बुधवार को 22 अंक गिरकर बंद
अमेरिकी और यूरोपीय शेयर बाजार बुधवार को मिले-जुले रुख के साथ बंद हुए। अमेरिकी का डाओ जोंस 22.05 अंक की नरमी जबकि नैस्डेक ने 16.93 अंक और S&P 500 ने चार अंक की तेजी के साथ कारोबार किया। उधर, ब्रिटेन के फुट्जी 100 ने 27.23 अंक और जर्मनी के डैक्स ने 9.39 अंकों की तेजी जबकि फ्रांस के कैक 40 ने 6.29 अंकों की कमजोरी दर्ज की।  

अमेरिकी-यूरोपीय बाजारों का प्रदर्शन-(बुधवार)-

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Rajanish Kant गुरुवार, 19 जनवरी 2017