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ईपीएफओ द्वारा यूएएन-आधार को जोड़ने के लिए नई सुविधा शुरू
ईपीएफओ द्वारा यूएएन-आधार को जोड़ने के लिए नई सुविधा शुरू 
कर्मचारी भविष्‍य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने उमंग मोबाइल ऐप में ईपीएफओ लिंक का इस्‍तेमाल कर रहे सदस्‍यों की सुविधा के लिए यूएएन-आधार को जोड़ने के लिए नई सुविधा शुरू की है। यह सुविधा ईपीएफओ की वेबसाइट  www.epfindia.gov.in >> Online Services >> e-KYC Portal>> LINK UAN AADHAAR पर पहले से ही उपलब्‍ध वर्तमान वेब सुविधा के अतिरिक्‍त है।

ई-केवाईसी पोर्टल पर सुविधा से बायोमीट्रिक परिचय पत्रों का इस्‍तेमाल करते हुए यूएएन को आधार से ऑनलाइन जोड़ा जा सकेगा। उपरोक्‍त सुविधा का इस्‍तेमाल करते हुए ईपीएफओ सदस्‍य अपने यूएएन को आधार के साथ इस प्रकार जोड़ सकते हैं :
उमंग ऐप के साथ इस सुविधा के इस्‍तेमाल के लिए सदस्‍य को अपना यूएएन देना होगा। यूएएन पंजीकृत मोबाइल नंबर पर एक ओटीपी भेजा जाएगा। ओटीपी का सत्‍यापन हो जाने के बाद सदस्‍य को आधार का विवरण देना होगा और लिंग की जानकारी देनी होगी, (जहां यूएएन के सामने लिंग संबंधी जानकारी उपलब्‍ध नहीं है)। एक अन्‍य ओटीपी आधार पंजीकृत मोबाइल नम्‍बर और/अथवा ईमेल पर भेजा जाएगा। ओटीपी के सत्‍यापन के बाद आधार यूएएन के साथ जुड़ जाएगा, जहां यूएएन और आधार का विवरण मेल खाएगा।
ई-केवाईसी पोर्टल के जरिए इस सुविधा के इस्‍तेमाल के लिए सदस्‍यों को अपना यूएएन देना होगा। यूएएन पंजीकृत मोबाइल नम्‍बर पर एक ओटीपी भेजा जाएगा। ओटीपी के सत्‍यापन के बाद सदस्‍य को आधार का विवरण, लिंग संबंधी जानकारी (जहां यूएएन के सामने लिंग संबंधी जानकारी उपलब्‍ध नहीं है) प्रदान करनी होगी और आधार सत्‍यापन प्रणाली (मोबाइल/ईमेल आधारित ओटीपी/बायोमीट्रिक्‍स का इस्‍तेमाल करते हुए) का चयन करना होगा। आधार पंजीकृत मोबाइल नंबर और/अथवा/ईमेल अथवा बायोमीट्रिक पर एक अन्‍य ओटीपी भेजा जाएगा, जिसे पंजीकृत बायोमीट्रिक उपकरण का इस्‍तेमाल करते हुए रखा जाएगा। सत्‍यापन के बाद आधार यूएएन के साथ जुड़ जाएगा, जहां यूएएन और आधार का विवरण मेल खाएगा।
डिजिटल इंडिया की ओर बढ़ते हुए, ईपीएफओ ने सदस्‍य द्वारा नामांकन फार्म भरने के लिए ई-नामांकन सुविधा शुरू की है। यह ईपीएफओ यूनिफाइड पोर्टल (https://unifiedportal-mem.epfindia.gov.in/memberinterface/)  के सदस्‍य इंटरफेस पर उपलब्‍ध है। कोई भी सदस्‍य, जिसने आधार के साथ यूएएन को सक्रिय किया है, वह इस सुविधा का लाभ ले सकता है।
(Source: pib.nic.in)

Rajanish Kant बुधवार, 28 फ़रवरी 2018
PF अकाउंट होल्डर को झटका, पैसों पर कम मिलेगा ब्याज, करीब 6 करोड़ लोगों पर होगा असर
कर्मचारी भविष्य निधि संगठन यानी EPFO (Employees Provident Fund Organisation)  ने करीब 6 करोड़ पीएफ अकाउंट होल्डर को झटका दिया है। संगठन ने वित्त वर्ष 2017-18 के लिए पीएफ पर दी जाने वाली ब्याज दर में 0.10 प्रतिशत की कटौती कर दी है। 

पीएफ अकाउंट होल्डर को 2017-18 में उनके पैसों पर 8.55 प्रतिशत सालाना ब्याज दिया जाएगा, जो कि उससे पहले के वित्त वर्ष 2016-17 में 8.65 प्रतिशत सालाना था। सेंट्रल बोर्ड ऑफ ट्रस्टीज की बैठक में संगठन ने ब्याज दर घटाने का फैसला लिया। इस बैठक से पहले  हालांकि उम्मीद की जा रही थी कि ब्याज दर पिछले वित्त वर्ष के जितना ही 8.65 प्रतिशत सालाना रखी जाएगी। लेकिन, ऐसा नहीं हुआ। 2015-16 में पीएफ पर ब्याज दर 8.80 प्रतिशत सालाना थी। 

श्रम मंत्री संतोष कुमार गंगवार, जो कि सेंट्रल बोर्ड ऑफ ट्रस्टीज के भी प्रमुख हैं,ने ब्याज दर में कटौती को जायज ठहराते हुए कहा कि ईपीएफ पर इस कटौती के बावजूद पब्लिक प्रोविडेंट फंड यानी पीपीएफ से ज्यादा ब्याज मिल रहा है। आपको बता दूं कि जनवरी-मार्च 2018 तिमाही में सरकार पीपीएफ पर ब्याज दर 7.6 प्रतिशत सालाना दे रही है। पीपीएफ पर ब्याज दर की हर तिमाही समीक्षा होती है।  

आपको बता दूं कि ईपीएफओ फिलहाल अपने कुल पैसे का 15 प्रतिशत हिस्सा एक्सचेंज ट्रेडेड फंड यानी ईटीएफ के जरिये शेयर बाजार में और बाकी के 85 प्रतिशत पैसे ऋण आधारित निवेश साधनों जैसे कि सरकारी बॉन्ड्स, प्राइवेट सेक्टर बॉन्ड्स, और फिक्स्ड डिपॉजिट्स में लगाता है। ईपीएफओ ने अगस्त 2015 से ईटीएफ में पैसा लगाना शुरू किया और अब तक करीब44 हजार करोड़ रुपए निवेश कर चुका है। ईटीएफ में निवेश किये गए पैसों पर अगर रिटर्न की बात करें तो इस साल जनवरी तक 16 प्रतिशत सालाना बैठता है यानी पीएफ पर मिल रहे सालाना ब्याज से भी ज्यादा।
श्रम मंत्री ने सामाजिक सुरक्षा का दायरा बढ़ाने के लिए ईपीएफओ के तहत अधिक से अधिक कंपनियों को शामिल करने के लिए ईपीएफ कानून में बदलाव के भी संकेत दिए। फिलहाल, 20 या उससे अधिक कर्मचारी वाली कंपनियां ईपीएफओ के दायरे में आती हैं लेकिन, अब कम से कम 10 कर्मचारी वाली कंपनियों को भी इस दायरे में लाने की बात चल रही है। 
(('बिना प्रोफेशनल ट्रेनिंग के शेयर बाजार जरूर जुआ है'
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(ब्लॉग एक, फायदे अनेक

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Rajanish Kant गुरुवार, 22 फ़रवरी 2018
क्या आप एक से अधिक PF अकाउंट से परेशान हैं, तो आपके लिए राहत की खबर है
क्या आपके पास भी एक से अधिक पीएफ अकाउंट है और उसे मैनेज करने या फिर उसे बंद करने या फिर उसका ट्रांसफर नए पीएफ अकाउंट में करने का वक्त आपके पास नहीं है, तो आपके लिए अच्छी खबर है। दरअसल, अब आप 10 पीएफ अकाउंट को एक ही अकाउंट को एक बार में यूनिवर्सल खाता संख्या (UAN) के साथ जोड़ सकेंगे। 

पीएफ अकाउंट मैनेज करने वाली संस्था ईपीएफओ यानी कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने अपने करीब 5 करोड़ अकाउंट होल्डर्स के लिए यह सेवा शुरू की है। इस सुविधा के तहत ईपीएफओ के अंशधारक 10 पुराने खातों को एक बार में यूनिवर्सल खाता संख्या (यूएएन) के साथ जोड़ सकेंगे। अभी तक ईपीएफओ अंशधारकों को ईपीएफओ के यूएएन पोर्टल पर यूएएन का इस्तेमाल करते हुए ट्रांसफर क्लेम अलग-अलग ऑनलाइन करना होता है। इस सुविधा को पाने के लिए उन्हें अपने यूएएन को एक्टिवेट करना होगा। यह बैंक खातों तथा अन्य ब्योरे मसलन आधार नंबर और पैन से जुड़ा होगा।

यूएएन एक्विटवेशन के बिना ये अंशधारक ईपीएफओ की स्थानांतरण दावा पोर्टल सुविधा के जरिये ऑनलाइन तरीके से इसे कर सकेंगे। ईपीएफओ ने इस सुविधा के साथ प्रक्रिया को आसान किया है। 

2014 के अक्टूबर में ईपीएफओ ने प्रोविडेंट फंड(PF) खाताधारकों को यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (UAN) की सुविधा दी थी। आपको अपना यूएएन जानना बेहद आसान है। बस आपको ईपीएफओ की वेबसाइट पर जाकर कुछ स्टेप्स फोलो करने होंगे।
क्या है यूएएन नंबर
यूनिवर्सल अकाउंट नंबर(UAN) के जरिए लोगों को अपना पीएफ खाता बंद करने या ट्रांसफर कराने के झंझट से छुटकारा मिल जाता है। अक्सर नौकरी छोड़ने पर लोग पीएफ खाते को बंद करके नई कंपनी नया खाता खुलवाते थे। इसमें काफी समय लगता था और खाताधारक को इससे नुकसान भी होता है। यूएएन के जरिए आप अपने अकाउंट का बैलेंस कहीं से भी चेक कर सकते हैं, साथ ही पासबुक और यूएएन कार्ड भी डाउनलोड कर सकते हैं, लेकिन बहुत सारे लोगों को अभी तक अपना यूएएन नहीं पता है। बहुत सारे लोग ऐसे भी हैं, जिन्हें यह भी नहीं पता कि उन्हें यूएएन मिला भी है या नहीं।
आइए जानते हैं किस तरह से जानें कि यूएएन नंबर मिला है या नहीं और यदि मिला है तो कैसे होगा एक्टिवेट-
UAN स्टेटस पता करें
अपना UAN स्टेटस पता करने के लिए इस लिंक http://uanmembers.epfoservices.in/check_uan_status.php पर क्लिक करें।
इसके बाद जो पेज खुलना है, उसमें मांगी गई जानकारियां भरें। इसमें राज्य का नाम, सिटी का नाम, इस्टेबलिशमेंट कोड और पीएफ अकाउंट नंबर भरना होगा और चेक स्टेटस बटन पर क्लिक करना होगा।
इस पर क्लिक करते ही आपको एक मैसेज दिखेगा, जिसमें यह बताया गया होगा कि आपको यूएएन नंबर मिला है या नहीं। अगर आपको यूएएन नंबर मिल गया है तो आप इसके लिए अपनी कंपनी के एचआर डिपार्टमेंट से पता कर सकते हैं।
कैसे करें एक्टिवेट
STEP 1- कंपनी से यूएएन पता करके आपको उसे एक्टिवेट कराना होगा। इसे एक्टिवेट कराने के लिए http://uanmembers.epfoservices.in/index.php?accesscheck=%2Fhome.php इस लिंक पर क्लिक करें। खुलने वाले नए पेज पर activate your UAN पर क्लिक करें।
खुलने वाले नए पेज पर activate your UAN पर क्लिक करें।
STEP 2- लिंक पर क्लिक करने के बाद एक पेज खुलेगा, जिसमें यूएएन नंबर, मोबाइल नंबर, राज्य, सिटी, इस्टेबलिशमेंट और पीएफ अकाउंट नंबर डालना होता है। सारी जानकारी भरने के बाद वैरिफिकेशन कोड डालकर ‘GET PIN’ पर क्लिक करें। इस पर क्लिक करने के बाद 5 मिनट के अन्दर आपके मोबाइल फोन पर एक पिन आएगा, जिसे फॉर्म में डालकर सबमिट करना होगा।
ई-मेल पर मिलेगा एक्टिवेशन लिंक
STEP 3- पिन सबमिट करने के बाद जो विंडो खुलेगी, उसमें आपका नाम, पिता का नाम, कंपनी का नाम, यूएएन और जन्मतिथि लिखी होती है। जैसा कि ऊपर तस्वीर में दिखाया गया है। इसमें आपको अपने यूएएन अकाउंट में लॉगिन करने के लिए एक पासवर्ड डालना होता है। इसके बाद अपनी ई-मेल आईडी रजिस्टर करें।सबमिट बटन पर क्लिक करते ही आपको एक ई-मेल चला जाएगा, जिसमें एक्टिवेशन लिंक होता है। अपनी ई-मेल आईडी में जाकर उस लिंक पर क्लिक करें। क्लिक करते ही ईपीएफओ की वेबसाइट का एक पेज खुलेगा, जिस पर ई-मेल आईडी कन्फर्मेशन का मैसेज मिल जाएगा।
STEP 4-अपने यूएएन और पासवर्ड के साथ लॉगिन करें। लॉगिन करने के लिए http://uanmembers.epfoservices.in/ इस लिंक पर क्लिक करें। यहां अपना यूएएन और पासवर्ड डालें और लॉगिन बटन पर क्लिक करें। क्लिक करते ही आपके सामने एक पेज खुल जाएगा, जो आपके अकाउंट का पेज होता है।
STEP 5-अपने अकाउंट में आ जाने के बाद आप अपना यूएएन कार्ड और पासबुक डाउनलोड कर सकते हैं। पासबुक के जरिए आप देख सकते हैं कि आपके पीएफ अकाउंट में कितने पैसे हैं। साथ ही इसमें आपकी मेंबर आईडी और इस्टेबलिशमेंट कोड भी लिखा होता है। इससे आप मोबाइल नंबर, ई-मेल आईडी और पासवर्ड भी बदल सकते हैं।





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Rajanish Kant शुक्रवार, 8 दिसंबर 2017
सैलरी से जिनका PF कटता है उनके लिए जरूरी खबर
रिटायरमेंट फंड बॉडी कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने बड़ा फैसला लिया है। उसने एक्सचेंज ट्रेडेड फंड (ईटीएफ) यूनिट्स को भविष्य निधि (पीएफ) खातों में डालने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। आपको बता दूं कि इस  समय ईपीएफओ के सब्सक्राइबर्स की संख्या 4.5 करोड़ है। माना जा रहा है कि ईपीएफओ के सदस्य ईटीएफ यूनिट्स को अपने पीएफ खातों में अगले साल मार्च अंत तक देख पाएंगे।
ईपीएफओ की सर्वोच्च नीति निर्णायक इकाई सेंट्रल बोर्ड ऑफ ट्रस्टी (सीबीटी) ने इक्विटी निवेश के मूल्यांकन और लेखे के लिए लेखा नीति को मंजूरी दी है। 
>खास बातें :
-जब भी पीएफ सब्सक्राइवर्स पीएफ अकाउंट से पैसे निकालेंगे ईटीएफ यूनिट के भी पैसे दे दिये जाएंगे
-ईटीएफ यूनिट को सब्सक्राइवर ट्रेडिंग नहीं कर सकते हैं, जब भी वो पीएफ का पैसा निकालेंगे, उन्हें ईटीएफ का पैसा मिल जाएगा
-अगस्त 2015 से ईपीएफओ ने अपने पैसों को ईटीएफ में लगाना शुरू किया था
-अब तक ईपीएफओ ने करीब 32 हजार रुपए ईटीएफ में निवेश किया है और उस पर करीब 21.87 प्रतिशत रिटर्न मिला है, लेकिन यह रिटर्न तभी कारगर होगा जब ईपीएफओ उसे बेचेगा।
-बोर्ड ने National Payments Corporation of India (NPCI) platform के जरिये केंद्रीकृत भुगतान व्यवस्था लागू करने की भी मंजूरी दी है। इससे भुगतान की लागत कम होने के साथ-साथ कई और सुविधाएं मिलेंगी। अभी भुगतान की विकेंद्रित व्यवस्था है जिससे भुगतान की लागत बढ़ जाती है, पीएफ सब्सक्राइवर्स के खाते में पैसा ट्रांसफर होने में देरी होती है, कई बार पैसा ट्रांसफर नहीं हो पाता है और सबसे बड़ा बात मौजूदा भुगतान व्यव्सथा आधार पर आधारित नहीं है। 
-NPCI या नई व्यवस्था के तहत पीएफ का पैसा निकालने के लिए अर्जी दिए जाने के दिन ही (T+0 दिन )मुमकिन है कि यह सब्सक्राइवर के अकाउंट में ट्रांसफर हो जाए। ईपीएफओ बोर्ड की अगले महीने की 15 तारीख यानी 15 दिसंबर 2017 की बैठक होने वाली है जिसमें पेंशन से जुड़े कई मुद्दों के साथ-साथ ईटीएफ संबंधित प्रस्ताव पर विस्तार से चर्चा होगी। 
(('बिना प्रोफेशनल ट्रेनिंग के शेयर बाजार जरूर जुआ है'
((शेयर बाजार: जब तक सीखेंगे नहीं, तबतक पैसे बनेंगे नहीं! 
((जानें वो आंकड़े-सूचना-सरकारी फैसले और खबर, जो शेयर मार्केट पर डालते हैं असर
म्युचुअल फंड के बदल गए नियम, बदलाव से निवेशकों को फायदा या नुकसान, जानें विस्तार से  
((फाइनेंशियल प्लानिंग (वित्तीय योजना) क्या है और क्यों जरूरी है?
((ये दिसंबर तिमाही को कुछ Q2, कुछ Q3 तो कुछ Q4 क्यों बताते हैं ?
((कैसे करें शेयर बाजार में एंट्री 
((सामान खरीदने जैसा आसान है शेयर बाजार में पैसे लगाना
((खुद का खर्च कैसे मैनेज करें? 

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(ब्लॉग एक, फायदे अनेक

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Rajanish Kant शुक्रवार, 24 नवंबर 2017